अगर आप योग प्रेमी हैं, तो अक्सर आपने योग गुरु को कहते सुना होगा कि हाई बीपी के मरीज को कपालभाति के बाद अनुलोम विलोम करना चाहिए। इसके पीछे की वजह आज हम आपको बता रहे हैं। इनोसेंस योगा की योग एक्सपर्ट भोली परिहार का कहना है कि वर्तमान समय में बीपी एक बढ़ती समस्या है। बीपी का बढ़ना और घटना दोनों ही नुकसानदायक होते हैं। बीपी की इस परेशानी से बाहर निकलने का रास्ता योग से मिल सकता है। हाई बीपी के मरीज को कपालभाति के बाद अनुलोम विलोम क्यों करना चाहिए, जैसे कई सवालों के जवाब उन्होंने ओन्ली माई हेल्थ को दिए। Show
योग एक्सपर्ट भोली परिहार का कहना है कि हम योग करते समय ऐसी बहुत सी गलतिया करते हैं, जिनकी वजह से हमें योग का पूरा लाभ नहीं मिलता। आज के इस लेख में योग एक्सपर्ट भोली परिहार से जानें कि हाई बीपी के मरीज को कपालाभाति के बाद अनुलोम विलोम क्यों करना चाहिए और कपालभाति और अनुलोम विलोम करने का सही तरीका क्या है। तो आइए विस्तार से जानते हैं। क्या हाई बीपी के मरीज कपालभाति कर सकते हैं?योग एक्सपर्ट भोली परिहार का कहना है कि हाई बीपी के मरीज कपालभाति कर सकते हैं। लेकिन उसे सही तरीके से करना जरूरी है। योग एक्सपर्ट का कहना है कि कपालभाति प्राणायाम नहीं है, बल्कि एक क्लिंजिंग एक्सरसाइज है। इसे प्राणायाम शुरू करने से पहले किया जाता है। इसे इसलिए किया जाता है ताकि हमारी नाक, गले में किसी तरह का कचरा, म्युकस या कफ जमा हुआ है तो वह बाहर निकल जाए। साथ ही साथ यह हमारी कपाल (माथे) को चमकाता है। कपालभाति करने से त्वचा पर जल्दी झुर्रियां नहीं पड़तीं। कपालभाति को कोई भी प्राणायाम शुरू करने से पहले उसकी शुरूआत में किया जाता है। योग एक्सपर्ट भोली परिहार ने कपालभाति करने की दो विधियां बताई हैं। साथ ही यह भी बताया है कि कौन सी विधि किन लोगों को करनी चाहिए। कपाभाति करने की विधि एक
हाई बीपी के मरीजों के लिए निर्देशयोग एक्सपर्ट भोली परिहार का कहना है कि कपालभाति की विधि एक करते समय हाई बीपी के मरीजों को ध्यान देना चाहिए कि कपाभाति करते समय अपने सीधे हाथ से सीधी साइड वाली नाक को बंद कर दें और 2-3 लंबी गहरी सांसें लेफ्ट साइड से लें। जिससे यदि आपका बीपी नीचे या ऊपर है तो उसको मैनेज करने में मदद मिलेगी। अब लंबी गहरी सांस भरते हुए छटके से सांस बाहर छोड़नी है। जिन लोगों को हाई बीपी की समस्या है, वह इसे ज्यादा देर तक न करें। 10-15 बार काफी है। इसे भी पढ़ें : कपालभाति प्राणायाम से शरीर को होते हैं ये 10 फायदे, जानें इसे करने का सही समय और तरीका कपालभाति करने की विधि 2जिन लोगों को हाई बीपी की समस्या है, वे प्राणायाम शुरू करने से पहले निम्न ब्रिदिंग एक्सरसाइज जरूर करें।
यह एक्सरसाइज आपका बीपी मैनेज करने में बहुत लाभकारी है। इन सभी क्लिंजिंग एक्सरसाइज के बाद आप प्राणायाम शुरू कर सकते हैं। इसे भी पढ़ें : ऑक्सीजन लेवल को बढ़ाता है अनुलोम-विलोम, एक्सपर्ट से जानें कोरोना मरीजों के लिए यह कैसे फायदेमंद हाई बीपी के मरीज ऐसे करें अनुलोम-विलोमअनुलोम विलोम को ही नाड़ी शोधन प्राणायाम भी कहते हैं। इसे करने की सही विधि निम्न है।
हाई बीपी के मरीजों को कपालभाति के बाद अनुलोम विलोम क्यों करना चाहिए?इस सवाल के जवाब में योग एक्सपर्ट भोली परिहार का कहना है कि कपालभाति करने से हमारे शरीर में रक्त संचार बढ़ जाता है। साथ ही साथ हमारी हृदय के आसपास की मांसपेशियां व पेट की मांसपेशियां एक्टिव हो जाती हैं। वहीं, यदि बात करें हाई बीपी की तो उसमें भी हमारे शरीर नसें सिकुड़ जाती हैं, जिस वजह से रक्त का संचार शरीर में ठीक से हो नहीं पाता। जिस वजह से बीपी हाई हो जाता है। इसी वजह से बीपी के पेशेंट को लंबी-लंबी सांसें लेनी पड़ती हैं, ताकि उसे सांस सही से आए। इसी कारण बोला जाता है कि बीपी के मरीजों को कपालभाति के तुरंत बाद अनुलोम-विलोम करना चाहिए। अनुलोम विलोम से बीपी सामान्य हो जाता है। हाई बीपी के मरीज को कपालभाति के बाद अनुलोम विलोम करना जरूरी है। ऐसा करने से उसका बीपी सामान्य हो जाता है। अनलोम विलोम बीपी को सामान्य बनाए रखने में मदद करता है। साथ ही बीपी के मरीज को कपालभाति और अनुलोम विलोम करने का सही तरीका भी मालूम होना चाहिए। अगर सही तरीका मालूम नहीं होगा तो उसे पूरा लाभ भी नहीं मिलेगा। Read More Articles on Yoga in Hindi क्या ब्लड प्रेशर के मरीज कपालभाति कर सकते हैं?कपालभाति प्राणायाम आपके आते-जाते ब्लड सर्कुलेशन में एक आराम पैदा करता है। ये आपके ब्लड सर्कुलेशन को सही करता है और हाई बीपी को कम करने में मदद करता है। इसे करने के लिए एक शांत मुद्रा में बैठ जाएं।
हाई बीपी में कौन सा व्यायाम करना चाहिए?हाइपरटेंशन के मरीजों के लिए बालासन योग (चाइल्ड पोज) फायदेमंद होता है। यह उच्च रक्तचाप को बढ़ावा देने वाले विभिन्न कारकों से राहत देने में आपकी मदद कर सकता है। यह आसन तनाव को कम करने के साथ पूरे शरीर में रक्त परिसंचरण में सुधार करता है। गर्दन और कंधों से तनाव कम करने में भी इस योग को काफी कारगर माना जाता है।
योग से बीपी कैसे कम करें?बालासन योग का ये पोज हाइपरटेंशन के मरीजों के लिए बेहतरीन माना जाता है. यह स्ट्रेस कम करने में मददगार है. इसके साथ ही इस पोज को करने से पूरे शरीर में ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है.
क्या व्यायाम बीपी को कम करता है?योग, प्राणायाम और व्यायाम जैसे एक्सरसाइज को नियमित रूप से करें। इसने रक्तचाप 5 से 8 मिमी एचजी तक कम होता है। धूम्रपान छोड़ना- दोनों सिस्टोलिक और डायस्टोलिक उच्च रक्तचाप की सीमा को कम करने पर बड़ा प्रभाव डालता है।
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