पूरी दुनिया आज जिस रूप में हमें दिखाई दे रही है, उसके पीछे केवल और केवल एक शख्स का हाथ है। यह वह शख्स था जो मरने के बाद आज भी पूरी दुनिया के हर घर, मोहल्ले, गली, यहां तक कि हर व्यक्ति के भीतर रौशन हो रहा है।
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1/ 11 पूरी दुनिया आज जिस रूप में हमें दिखाई दे रही है, उसके पीछे केवल और केवल एक शख्स का हाथ है। यह वह शख्स था जो मरने के बाद आज भी पूरी दुनिया के हर घर, मोहल्ले, गली, यहां तक कि हर व्यक्ति के भीतर रौशन हो रहा है। 17वीं शताब्दी में बेहद गरीब परिवार में पैदा होने वाले इस शख्स को कभी नहीं पता था कि उसका जन्म ही पूरी दुनिया को बदलने के लिए हुआ है। आइए आपको बताते हैं कौन था वह शख्स? कैसे बदल दी उसने पूरी दुनिया और क्यों कहा गया उसे 21वीं सदी का भगवान? 2/ 11 कुछ लोगों के लिए दुनिया उनके जन्म के साथ ही वैसी नहीं होती, जैसी की उन लोगों के लिए होती है, जिन्हें केवल जीना है। लेकिन आज से तकरीबन 150 साल पहले अमेरिका में रहने वाले एक गरीब परिवार में एक ऐसे बालक का जन्म हुआ, जो पूरी दुनिया को बदलना चाहता था। 3/ 11 अमेरिका के ओहायो राज्य में जन्मा यह बालक इतना गरीब था कि केवल गरीबी के चलते स्कूल में पढ़ाई करने से वंचित रह गया। बचपन में केवल स्कूल की यूनिफॉर्म नहीं होने के कारण उसे स्कूल से निकाल दिया गया और बाद में उसे उसकी मां ने छह वर्ष तक घर पर ही पढ़ाया। 4/ 11 कुदरत ने इस बालक को पृथ्वी पर भेजा ही इसलिए था कि वह इस दुनिया को बदल सके। गरीबी ने उसे स्कूल से तो निकाल दिया, लेकिन उसने उसके ज्ञान की भूख को बाहर पूरा किया। आपको जानकर आश्चर्य होगा कि यह शख्स बचपन से ही मंद बुद्धि कहा जाता था, वह चार साल की उम्र तक बोल नहीं पाया, उसकी सुनने की शक्ति बहुत ही कम थी। 5/ 11 यह शख्स अपने जीवन में केवल 30 माह एक सरकारी स्कूल में शिक्षा हासिल कर पाया, लेकिन छ साल से लेकर 10 साल की उम्र तक इसने ह्यूम, सीअर, बर्टन, तथा गिबन के महान ग्रंथों एवं डिक्शनरी ऑव साइंसेज़ का अध्ययन कर डाला। 6/ 11 मनुष्य सभ्यता को यूटर्न देकर आधुनिकता में प्रवेश दिलाने वाले इस महान इंसान का नाम था थॉमस अल्वा एडीसन। इस महान अमेरिकी ने अपने जीवन में तकरीबन 9 ऐसे अविष्कार किए, जिसके बूते आज हम इस आधुनिक दुनिया को देख पा रहे हैं। 7/ 11 11 फ़रवरी 1847 को अमेरिका के ओहियो राज्य में जन्मे एडिसन ने अपने पूरे जीवन काल में तकरीबन 1000 से ज्यादा अविष्कार पेटेंट कराए। लेकिन एडिसन ने दुनिया को जो सबसे महान तोहफा दिया वह था बिजली के बल्ब का अविष्कार था। 8/ 11 21 अक्टूबर 1879 ई. को एडिसन ने 40 घंटे से अधिक समय तक बिजली से जलनेवाला निर्वात् बल्ब पूरी दुनिया व मनुष्य, सभ्यता को भेंट किया। एडिसन का यह सबसे महान अविष्कार कहा जाता है। एक तरह से एडिसन ने पूरी दुनिया को रौशनी से भरी आंखें दी। 9/ 11 बेहद दिलचस्प बात है कि बिजली का बल्ब बनाते हुए एडिसन तकरीबन 10 हजार बार असफल हुए, लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी। जब उनसे पूछा गया कि 10 हजार बार असफल होने पर आपने हार नहीं मानी तो उन्होंने कहा कि मैं 10 हजार बार असफल नहीं हुआ, बल्कि मैंने इस अविष्कार के दौरान 10 हजार ऐसे नये तरीके ढूंढे जो काम नहीं करते। 10/ 11 1870-76 ई. के बीच एडिसन ने अनेक अविष्कार किए। इसमें से पहला ही अविष्कार 1869 ई. "विद्युत् मतदानगणक" का था, जिसे पेटेंट कराया। इसके बाद एक ही तार पर चार, छह, संदेश अलग अलग भेजने की विधि खोजी, स्टॉक एक्सचेंज के लिए तार छापने की स्वचालित मशीन को सुधारा, तथा बेल टेलीफोन यंत्र का विकास किया। 11/ 11 संपूर्ण मानवजाति और सभ्यता को अंधेरे से प्रकाश की ओर ले जाने वाले इस महान अमेरिकी वैज्ञानिक का पूरा जीवन ही एक दृढ़ संकल्प शक्ति और अथाह परिश्रम का प्रतीक था। एडीसन ने 18 अक्टूबर 1931 को दुनिया को अलविदा कह दिया। First Published: July 10, 2016, 09:13 IST दुनिया की सबसे महान व्यक्ति कौन है?Answer: मनुष्य सभ्यता को यूटर्न देकर आधुनिकता में प्रवेश दिलाने वाले इस महान इंसान का नाम था थॉमस अल्वा एडीसन। इस महान अमेरिकी ने अपने जीवन में तकरीबन 9 ऐसे अविष्कार किए, जिसके बूते आज हम इस आधुनिक दुनिया को देख पा रहे हैं।
दुनिया में सबसे महान पुरुष कौन है?शीर्ष दस महान भारतीय (टॉप टेन). महान कौन होता है?कोई व्यक्ति किसी भी क्षेत्र में मानवता के लिए निस्वार्थ ढंग से काम करता है तो उसके द्वारा दबे कुचले वर्ग का उत्थान होता है व पूरा मानव समाज उसके कार्य से लाभान्वित होता है ऐसे लोगों को महत्व दिया जाने लगता है और एक दिन वह महान विभूतियों में सम्मिलित हो जाते है।
जीवन में महान कैसे बने?महान बनने के लिए क्या करें?. समय की कद्र करें ... . आप जो वादा करते हैं उसे निभाएं ... . लोगों का सम्मान करें ... . लोगों की सेवा करें ... . लोगों के सुख-दुख में शामिल हों ... . ईमानदार रहें ... . घमंड ना करें ... . ज्ञानी बने. |