माउस के लेफ्ट बटन का क्या उपयोग होता है? - maus ke lepht batan ka kya upayog hota hai?

हेलो दोस्तों, आज इस आर्टिकल के जरिए हम जानेंगे की माउस क्या है (Mouse kya hai in hindi), इसके कितने प्रकार होते हैं और यह कौन-कौन से कार्य करता है, साथ में माउस से संबंधित, प्रयोग होने वाले कुछ शब्दों के बारे में भी जानेंगे। तो चलिए शुरू करते हैं…

Show

माउस (Mouse)- माउस किसी भी कंप्यूटरसिस्टम के लिए मुख्य इनपुट डिवाइस है।

यह एक ग्राफिकल यूजर इंटरफेस (GUI) प्वाइंटिंग इनपुट डिवाइस है , जिसका प्रयोग कम्प्यूटर में pointer की मदद से, बड़ी ही आसानी से, इनपुट देने के लिए किया जाता है।

Pointer का प्रयोग होने के कारण, इसे प्वाइंटिंग डिवाइस भी कहते हैं।

इसका आकार चूहे जैसा होने के कारण इसे माउस कहा गया। इसका plural form माइस (mice) है।

आज के समय में माउस सबसे ज्यादा प्रयोग हाेने वाली इनपुट डिवाइस है। इसके आ जाने से हमें कीबोर्ड के बटनों का भी ज्यादा ध्यान रखने की जरूरत नही होती है।

माउस के जनक या सर्वप्रथम आविष्कारक-

डगलस सी इंजेल्वर्ट (Douglas Carl Engelbart)हैं। जिन्होने स्टैनफोर्ड रिसर्च लैबोरेट्री, अमेरिका में इसका निर्माण किया था।

माउस का फुलफॉर्म (Fullform of Mouse)-

Manually Operated Utility for Selecting Equipment

माउस के सम्बन्ध में उपयोग होने शब्दावली-

प्वाइंटर (mouse pointer)- सामान्यत: Arrow (बाण/तीर) के आकार का चिन्ह जो मॉनिटर/स्क्रीन पर दिखाई देता है।

माउस के लेफ्ट बटन का क्या उपयोग होता है? - maus ke lepht batan ka kya upayog hota hai?
mouse pointer

कर्सर (mouse cursor)  माउस का लाइन जैसा चिन्ह जो टेक्स्ट फाइल में ब्लिंक होता है।

पैड (Mouse Pad)- एक पुस्तक या स्लेट के आकार की चीज, जिस पर माउस को रखकर चलाया जाता है, माउस पैड कहलाता है।

माउस के बटन्स (Buttons of Mouse)

Mouse दो बटन व तीन बटन के साथ उपलब्ध हैं, इसमें तीसरे बटन के रूप में स्क्राल व्हील का प्रयोग होता है।

  • लेफ्ट बटन
  • राइट बटन
  • स्क्राल व्हील

माउस के कार्य (Function of Mouse) अथवा माउस के उपयोग (Uses of Mouse  )

माउस में उपस्थित बटनों के आधार पर माउस के कार्यों को निम्न भागों में बांटा गया है-

  1. क्लिकिंग या लेफ्ट क्लिक
  2. डबल क्लिक
  3. राइट क्लिक
  4. ड्रैगिंग (ड्रैग एंड ड्रॉप)
  5. प्वाइटिंग
  6. स्क्रॉलिंग

क्लिकिंग या लेफ्ट क्लिक (Clicking or Left Click) –

लेफ्ट बटन के द्वारा।

Mouse के लेफ्ट बटन को एक बार दबा कर छोड़ना, left-click कहलाता है। इसका प्रयोग किसी भी ऑब्जेक्ट जैसे- फाइल, फोल्डर, इमेज, आईकॉन, टेक्स्ट, आदि को सेलेक्ट करने के लिए किया जाता है।

इसके लेफ्ट बटन का प्रयोग सामान्यत: OK के लिए किया जाता है।

डबल क्लिक (Double Click)-

लेफ्ट बटन के द्वारा ही किया जाता है, पर जल्दी-जल्दी दो बार क्लिक करना।

किसी भी फाइल, फोल्डर, डॉक्यूमेंट, आदि को open करने के लिए।

Text File, जैसेकि एम-एस वर्ड, नोटपैड, वर्डपैड, आदि में माउस के लेफ्ट बटन द्वारा, किसी एक अक्षर पर, एक बार क्लिक करने पर वह अक्षर, दो बार क्लिक करने पर एक शब्द, और तीन बार क्लिक करने पर, पूरा का पूरा पैराग्राफ सलेक्ट हो जाता है।

राइट क्लिक(Right Click)-

इसके राइट बटन द्वारा।

किसी भी ऑब्जेक्ट (File, Folder, Document, Picture, Icon etc.) पर माउस के प्वाइंटर को रखकर, राइट बटन को प्रेस करना, राइट क्लिकिंग कहलाता है।

इसकी मदद से, उस ऑब्जेक्ट की प्रॉपर्टीज को एक्सेस किया जा सकता है जिसमें कई सारे ऑप्शन्स जैसे- कॉपी, पेस्ट, प्रिंट, फाइल साइज इत्यादि हो सकते हैं।

ड्रैगिंग या (ड्रैग एंड ड्रॉप) Dragging or Drag and Drop-

इसके लेफ्ट बटन द्वारा ही।

यह एक ऐसी प्रक्रिया है, जिसमें माउस की सहायाता से किसी भी ऑब्जेक्ट जैसे की File, Folder, Document, Picture, Icons आदि को कंप्यूटर में एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाया जा सकता है।

इसके लिए मॉनिटर के objects या items पर mouse pointer को ले जाकर, माउस की लेफ्ट बटन द्वारा पकड़े हुए किसी दूसरे स्थान,फोल्डर, या ड्राइव में ले जाकर छोड़ दिया जाता है, जिसये वह आब्जेक्ट दूसरी जगह स्थानान्तरित हो जाता है, यही प्रक्रिया ड्रैग एंड ड्रॉप कहलाती है।

प्वाइटिंग (Pointing)-

जैसा कि हम जानते हैं कि माउस एक ग्राफिकल यूजर इंटरफेस प्वाइटिंग इनपुट डिवाइस है, इसका प्रयोग मॉनिटर पर किसी भी ऑब्जेक्ट को प्वाइंंट या इंगित (mark) करने के लिए किया जाता है।
किसी भी ऑब्जेक्ट को इंगित करने के लिए माउस के बटन को क्लिक करने की आवश्यकता नही होती। चूँकि माउस का प्वाइंटर/कर्सर हमेशा कंप्यूटर स्क्रीन पर मौजूद रहता है।

स्क्रॉलिंग (Scrolling)-

इसमें उपस्थित व्हील (wheel) की मदद से।

माउस में उपस्थित व्हील की मदद से, स्क्रीन/मॉनिटर से बड़े object/item को ऊपर नीचे करके देखने के लिए। इसकी मदद से लंबी फाइल के मैटर को उपर-नीचे स्क्रॉल करके देखा जा सकता है।

इंटरनेट ब्राउज़र में माउस के इस स्क्रॉल व्हील का बड़ा अच्छा उपयोग है, इसका उपयोग आप जरूर करें-

किसी भी हाइपरलिंक (hyperlink) को Next Tab में खोलने के लिए, केवल आप उस हाइपरलिंक में माउस के प्वाइंटर को ले जाएं, और स्क्रॉल-व्हील से क्लिक कर दें, जिससे यह हाइपरलिंक Next Tab में ओपन हो जाएगा।

माउस कितने प्रकार के होते हैं?

माउस के प्रकार (Type of Mouse)

सामान्यत: माउस तीन प्रकार के होते हैं-

  1. मैकेनिकल माउस या यांत्रिक माउस (Mechanical mouse)
  2. प्रकाशीय माउस या नॉन मैकेनिकल माउस (Optical mouse)
  3. वायरलेस माउस या कॉर्डलेस माउस (Wireless mouse or Cordless mouse)

मैकेनिकल माउस या यांत्रिक माउस (Mechanical mouse)-

माउस के लेफ्ट बटन का क्या उपयोग होता है? - maus ke lepht batan ka kya upayog hota hai?
Mechanical mouse

इस प्रकार के माउस में ट्रैकबॉल का इस्तेमाल, माउस के प्वाइंटर को move या कंट्रोल करने के लिए किया जाता है। स्क्रीन या मॉनिटर पर माउस के प्वाइंटर की स्पीड, दूरी, तथा दिशा ट्रैकबॉल के घूर्णन (rotation) पर निर्भर करती है।

जैसे-जैसे यूजर, माउस को move करता है उसमें लगा ट्रैकबॉल घूमता है और सेंसर के माध्यम से कंप्यूटर को संकेत भेजता है। पुराने समय के माउस लगभग इसी श्रेणी में आते हैं।

प्रकाशीय माउस या नॉन मैकेनिकल माउस (Optical mouse)-

माउस के लेफ्ट बटन का क्या उपयोग होता है? - maus ke lepht batan ka kya upayog hota hai?
Optical mouse

आज के समय में उपयोग होने वाले माउस इस श्रेणी में आते हैं। इनमें किसी भी प्रकार की ट्रैकबॉल का प्रयोग नहीं किया जाता, बल्कि इसमें एक सेंसर होता है जिससे प्रकाश की किरण (beam of light) उत्सर्जित होती है और परावर्तन (reflection of light) के सिद्धांत के अनुसार यह प्वाइंटर की दूरी, दिशा, व गति निर्धारित करता है।

अगर efficiency की बात करें, तो इसकी speed और durability ट्रैकबॉल वाले माउस की अपेक्षा अधिक होती है।

तार रहित माउस [वायरलेस या कॉर्डलेस माउस] (Wireless mouse or Cordless mouse)

माउस के लेफ्ट बटन का क्या उपयोग होता है? - maus ke lepht batan ka kya upayog hota hai?
Wireless mouse or Cordless mouse

जैसा कि नाम से ही स्पष्ट है इस प्रकार के माउस में तार नहीं लगा होता, इसीलिए इन्हें कॉर्डलेस या वायरलेस माउस कहते हैं। अब तक का सबसे आधुनिक माउस (advanced mouse) है। जबकि ऊपर बताए गए दोनों माउस में तार लगे होते हैं।

तार का प्रयोग ना होने के कारण इनमें दो कॉम्पोनेंट का प्रयोग किया जाता है-

  • ट्रांसमीटर (transmitter)
  • रिसीवर (receiver)

ट्रांसमीटर, माउस के अंदर लगा होता है जो माउस की गति (movement /speed) व इसके क्लिक किए जाने की सूचना, इलेक्ट्रोमैग्नेटिक सिग्नल के रूप में रिसीवर, जो कि कंप्यूटर के यूएसबी स्लॉट में लगा होता है को भेजता है। वायरलेस माउस  इन्फ्रारेड या रेडियों तरंगाे की मदद से कंप्यूटर के साथ communication करता है।

माउस का दूसरा नाम क्या है?

चूँकि माउस एक प्वाइन्टिग डिवाइस है इसीलिए इसे प्वाइन्टर भी कहते हैं।

इसको प्वाइंट एण्ड ड्रॉ डिवाइस (Point & draw device) के नाम से भी जाना जाता है।

क्या कोई डिवाइस माउस की अल्टरनेटिव है?

हॉं- माउस के अल्टरनेटिव के रूप में ट्रैकबॉल का इस्तेमाल किया जा सकता है।

माउस के बीच वाले बटन को क्या कहते हैं?

माउस में एक लेफ्ट बटन होती है, एक राइट बटन होती है, और तीसरे बटन के रूप में एक व्हील होती हैं जिसे स्क्रॉल व्हील कहते हैं जो कि माउस का बीच वाला बटन होता है इसको घुमाने से यह घूमता है।

इसका काम स्क्रीन से बड़े आकार के इमेज/पिक्चर, डॉक्यूमेंट आदि को ऊपर नीचे करके देखना होता है इसकी मदद से हम लंबे से लंबे डॉक्यूमेंट को ऊपर नीचे करके देख सकते हैं।

माउस के दाएं बटन को क्लिक करने पर क्या होता है?

इसके राइट बटन को क्लिक करने पर एक मेन्यू दिखाई देता है, जिसमें कई आप्शन होते हैं।

माउस ने बना दिया कम्प्यूटर को चलाना आसान

दोस्तों क्या आपको पता है कि जब माउस का अविष्कार नहीं किया गया था तो उस समय कंप्यूटर चलाना काफी कठिन था। खासकर सामान्य व्यक्ति के लिए।

जिन्हें तो की-बोर्ड व कंप्यूटर की लैंग्वेज का अच्छा ज्ञान था वो तो किसी तरह से कंप्यूटर को ऑपरेट कर लेते थे, लेकिन जिनको इन सारी चीजों का ज्ञान नहीं था, उनके लिए कंप्यूटर को ऑपरेट करना बहुत ही मुश्किल था।

आज भी अगर आप सी लैंग्वेज (C language) में प्रोग्राम बनाते हैं C के एडिटर में, तो वहां पर आप देखेंगे कि माउस काम नहीं करता और हमें कठिनाई होती है।

इसी तरह डॉस एनवायरमेन्ट में भी माउस काम नही करता है। अब बहुत सारे स्टूडेन्ट के मन में विचार आयेगा कि जब हम C language में प्रोग्राम बनाते हैं तो वहॉं माउस काम करता है। तो इसका जबाव है कि आप C नही बल्कि C++ के एडीटर में प्रोग्रामिंग करते हैं जहॉं माउस काम करता है।

वास्तव में, यही वह इनपुट डिवाइस है जिसने कंप्यूटर के उपयोग को काफी आसान बना दिया है। या यूँ कहें कि इसकी वजह से सामान्य से सामान्य व्यक्ति भी कम्प्यूटर को बड़ी़ ही सरलता से ऑपरेट कर सकता है।

दोस्तों मैंने इस आर्टिकल माउस क्‍या है | mouse kya hai | What is mouse in Hindi के जरिए आपको माउस के बारे में लगभग संपूर्ण जानकारी दी है फिर भी अगर कोई अतिरिक्त जानकारी आपके पास है या आप कोई सुझाव देना चाहते हैं तो कॉमेन्ट बाक्स में आप सुझाव या जानकारी दे सकतें हैं, आपका स्वागत है।

I hope, आपको यह आर्टिकल- माउस क्‍या है / mouse kya hai / What is mouse in Hindi – जरूर पसंद आया होगा।

अगर आपको ये आर्टिकल पसन्द आया हो, तो इसे अपने दोस्तों के साथ WhatsApp, Facebook आदि पर शेयर जरूर करिएगा। Thank you!