गेहूं से कीड़े कैसे साफ करें? - gehoon se keede kaise saaph karen?

इसे सुनेंरोकेंएक किलो नीम की पत्तियों को छाया में सुखाकर भंडार करने से पहली टंकी की तली में बिछाना चाहिए। इससे गेहूं खराब नहीं होगा। यह तरीका कम मात्रा में गेहूं को भंडारित करने का है। अगर पहले ही गेहूं में कीड़ा लगा हो तो एल्यूमिनियम फॉस्फाइड की 3 गोली प्रति 10 कुंतल बीज पर उपयोग कर सकते हैं।

गेहूं में घुन लग जाए तो क्या करें?

इसे सुनेंरोकेंजब घुन लग गए तो दवा का छिड़काव कर दिया, लेकिन बेअसर रही। ऐसे में घुन मारने के लिए इन बोरों पर सल्फास का पाउडर डाल दिया। इससे बाहरी घुन तो मर गए, लेकिन जब तक सल्फास की हीट अंदर नहीं पहुंचेगी, तब तक अंदर के घुनों पर इसका असर नहीं होगा। आमतौर पर सल्फास को पोटली बनाकर रखा जाता है, ताकि वह गेहूं में न मिल पाए।

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गेहूं में राष्ट्र रोग होने का क्या कारण है?

इसे सुनेंरोकेंयह रोग 200 सेल्सियस से अधिक तापमान पर पफैलता है। इस रोग से प्रभावित गेहूं की फसल में तने एवं पत्तियों पर चाकलेटी रंग के धब्बे दिखाई देते हैं। बाद में ये काले रंग में बदल जाते हैं। तने में संक्रमण दिखाई देने के कारण इस रोग को ‘तने का रतुआ’ के नाम से भी जाना जाता है।

गेहूं को कैसे स्टोर करें?

इसे सुनेंरोकेंप्लास्टिक का कंटेनर अनाज को सुरक्षित रखने का एक अच्छा तरीका है. इसके लिए जहां भी कंटेनर रखें वहां पर चारकोल बिछा दें. स्टोर रूम को बार-बार खोले नहीं साथ ही 10 से 15 दिन में एक बार चेक कर लें कहीं अनाज खराब तो नहीं हुआ. अनाज जहां स्टोर करके रखें वो जगह हवादार हो.

घुन कैसे पैदा होते हैं?

इसे सुनेंरोकेंवातावरण में नमी, गर्मी और ऑक्‍सीजन एक साथ मिलने के कारण इनमें जीवाणु पनपने लगते हैं. दालों में घुन या कीड़े लगने का भी यही कारण है. इसके अलावा, ढक्‍कन ठीक से बंद न होने के कारण या गीले हाथ इस्‍तेमाल करने के कारण दालों में घुन लग जाता है.

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गेहूं में दवा कब डालें?

इसे सुनेंरोकेंमहेंद्र संधू के अनुसार बिजाई के 21 दिन बाद फसल में पहली ¨सचाई व 35 दिन बाद खरपतवार नाशक दवा का छिड़काव करें। किसान फ्लैट फेन नोजल का इस्तेमाल करें। स्प्रे करते समय नोजल को फसल से एक फीट ऊंचा रखें। स्प्रे हमेशा सुबह दस बजे के बाद धूप निकलने पर साफ मौसम में स्प्रे करें।

गेहूं में कौन कौन से रोग आते हैं?

इसे सुनेंरोकेंगेहूं में तना रतुआ या काला रतुआ रोग इस रोग का रोग जनक पक्सीनिया ग्रैमिनिस ट्रिटिसाई नामक कवक है। यह रोग प्रारम्भ में निलगिरी तथा पलनी पहाडिय़ों से आता है तथा इसका प्रकोप दक्षिण तथा मध्य क्षेत्रों में अधिक होता है। उत्तरी क्षेत्र में यह रोग फसल पकने के समय पहुंचता है। इसलिए इसका प्रभाव नगण्य होता है।

गेहूं में कौन सा रोग होता है?

इसे सुनेंरोकेंजनवरी और फरवरी में गेहूं की फसल में लगने वाले पीला रतुआ (यैलोरस्ट) रोग आने की संभावना रहती है। निम्न तापमान एवं उच्च आर्दता येलो रस्ट के स्पोर अंकुरण के लिए अनुकूल होता है एवं गेहूं को पीला रतुआ रोग लग जाता है। हाथ से छूने पर धारियों से फंफूद के बीजाणु पीले रंग की तरह हाथ में लगते हैं।

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अनाज को सुरक्षित कैसे रखें?

इसे सुनेंरोकेंअनाजों को अच्छी तरह से साफ-सुथरा कर धूप में सुखा लेना चाहिए, जिससे कि दानों में 10 प्रतिशत से अधिक नमी न रहने पाए। अनाज में ज्यादा नमी रहने से फफूंद एवं कीटों का आक्रमण अधिक होता है। अनाज को सुखाने के बाद दांत से तोड़ने पर कट की आवाज करें तो समझना चाहिए कि अनाज भण्डारण के लायक सूख गया है।

अक्सर लोग महीने भर का राशन एक साथ खरीदकर रख लेते हैं, यदि राशन को सही ढंग से ना रखा जाए तो उसमें से दुर्गंध आनी शुरू हो जाती है। साथ ही इनमें कीटाणु पनपने लगते हैं जिससे वह खाने योग्य नहीं रहते और ऐसे में साफ सफाई पर ध्यान देना बहुत जरूरी है।

स्टोर करके रखे गए अनाज के सबसे बड़े दुश्मन

सुंडी : सुंडी एक तरह का कीट है जो अनाज के दाने में सूक्ष्म छेद करके उसे खोखला बना देता है।

खपरा बीटल : यह स्टोर में रखे अनाज का सबसे बड़ा दुश्मन है। इसके बच्चे दाने के अंदर के हिस्से को खाकर नुकसान पहुंचाते हैं और प्रभावित अनाज से पाउडर निकलना शुरू हो जाता है।

स्टोर रूम तक कीटों को ना पहुंचने दें :
• कुछ कीट अनाज, दालों या उनकी फलियों पर दिए अंडों के माध्यम से घरों में पहुंचते हैं। अनाज ढोने के वाहन में भी स्टोर रूम तक पहुंच सकते हैं। कई बार पुरानी बोरियों के प्रयोग और स्टोर रूम की दीवारों की दरारों और छिद्रों में घुसने से भी ये कीट अनाज तक पहुंच जाते हैं।

अनाज को स्टोर में रखने से पहले धूप में अच्छी तरह से सुखाकर साफ कर लें। ध्यान रखें कि नमी वाले स्थान पर राशन को कभी ना रखें और नये अनाज को पुराने अनाज में मिक्स ना करें।

• अनाज को स्टील के कंटेनर में रखें। यदि कंटेनर में जंग लगा हो तो उसमें अनाज रखने से पहले उसे पेंट कर दें। इससे सामान पर नमी नहीं आएगी।
• मौजूदा समय में प्लास्टिक का कंटेनर अनाज रखने के लिए उपयुक्त है। जिस किसी स्थान पर कंटेनर रखें वहां पर चारकोल बिछा दें।
• स्टोर रूम में सेल्फास, डीलोसिया या फिर फॉसरोक्सीन का धुंआ कर लें ताकि कीट पहले ही भाग जाएं।
• यदि आप पुरानी बोरियों का प्रयोग कर रहे हैं तो इन्हें मैलाथियोन के घोल में 10 मिनट तक डुबोएं और फिर सुखाकर प्रयोग करें। अनाज की बोरी को हमेशा दीवारों से दूर रखना चाहिए।
• स्टोर रूम को बार-बार ना खोलें लेकिन इसमें रखे अनाज की हर 15 दिन बाद जांच करें।
• स्टोर रूम के पास गंदगी ना जमा होने दें। स्टोर रूम के खिड़की दरवाजे अच्छी तरह से बंद रखें ताकि चूहे आदि अंदर ना जा सकें।

अनाज को सुरक्षित रखना महिलाओं के लिए एक चुनौती बन जाता है लेकिन आप चिंता ना करें। आप अपने घर में रखे अनाज को घर में ही रखी चीज़ों के द्वारा सुरक्षित रख सकते हैं तो आज हम आपके लिए लेकर आए हैं घर में रखें अनाज को सुरक्षित रखने के लिए घरेलु नुस्खे :

नीम की पत्तियां : चावल को स्टोर करने के लिए पहले नीम की पत्तियों को छांव में सुखाएं। फिर कंटेनर में पहले पत्तियां रखें, उसके बाद उनके ऊपर चावल भर दें और चावलों के ऊपर नीम की पत्तियां। इससे चावलों में कीड़े होने की संभावना कम हो जाती है और यदि कीड़े होते भी हैं तो वे इन पत्तियों का सेवन करके मर जाते हैं।

सरसों का तेल : दाल को 2-3 महीने तक स्टोर करने से पहले उन पर सरसों का तेल लगाना चाहिए। उसके बाद धूप में सुखाकर कंटेनर में भरना चाहिए। राजमा, छोले पर भी सरसों का तेल लगाकर धूप में सुखाने के बाद कंटेनर में भरने से उन पर सुरसुरी जैसे कीट आदि नहीं आते।

प्याज : गेहूं को सुरक्षित रखने के लिए उसमें प्याज मिलाया जा सकता है। एक क्विंटल गेहूं में आधा किलो अनुपात में प्याज मिलाएं। सबसे पहले प्याज को नीचे रखें और फिर बीच में और इसके बाद सबसे ऊपर। इससे गेहूं को कीड़े नहीं लगेंगे।

नीम की निंबोली : 100 किलोग्राम चने में एक किलोग्राम के अनुपात में नीम की निंबोली मिलाने से चनों को सुरिक्षत रखा जा सकता है। इसके अलावा आटे और चावल को कीटों से बचाने के लिए साबुत लाल मिर्च और साबुत नमक कॉटन के कपड़े में बांधकर कंटेनर में डालें।

गेहूं में कीड़े लग जाए तो क्या करना चाहिए?

आप चाहें तो साबुत नमक डालकर भी रख सकते हैं. अगर गेहूं हैं तो उनमें नमक के टुकड़ों को कॉटन के कपड़े में बांधकर गेहूं में नीचे लगा दें. सूजी में लौंग डालने से कीड़े नहीं लगेंगे- सूजी को कीड़ों से बचाने के लिए उसे सूखा हल्का भून लें. इसके अलावा आप चाहें तो सूजी में 8 से 10 लौंग डालकर रख दें.

अगर आटे में कीड़े पड़ जाए तो क्या करें?

अगर आपके साथ ऐसा हो रहा है तो आप पूरे आटे को सुबह से लेकर शाम तक तेज धूप में रख दें। ऐसा करने से आटे से कीड़े खुद ही साफ हो जाएंगे क्योंकि कीड़े गर्मी सहन नहीं कर पाते हैं और वो बाहर निकल जाते हैं। बेहतर होगा कि आप अपने पूरे कंटेनर को तेज धूप में रख दें।

गेहूं को सुरक्षित कैसे रखा जाए?

जैसे- गेहूं को तेज धूप में सुखाकर, उसे केमिकल से ट्रीट करके. स्टोर करने से पहले गेहूं को धूप में अच्छी तरह से सुखा लें। - गेहूं में 10 परसेंट से ज्यादा नमी नहीं रहनी चाहिए। आप गेहूं को स्टोर करने जा रहे हैं उसे भी उपचारित करना चाहिए।

अनाज को कीड़ों से कैसे बचाया जाता है?

गेहूं-चावल को घुन और कीड़ों से बचाने के लिए अनाज में सूखे पुदीने की पत्तियां या नीम की सूखी पत्तियां डालकर उसमें डाल दें, ताकि आपका अनाज घुन से सुरक्षित रहे। अनाज को कीड़ों और कीड़ों से सुरक्षित रखने के लिए आप गेहूं-चावल में करेले के सूखे छिलके मिला सकते हैं।