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शब्द जब बात में प्रयोग होता है तो उसको पदेने पद कहते हैं इन पार्ट्स ऑफ स्पीच हुए थे Romanized Version एक से अधिक वर्णों के मिलने से बने सार्थक वर्ण-समूह जो बनता है वह शब्द कहलाता हैं। दूसरे शब्दों में कहा जाता है कि शब्द वर्णों के मेल से बनते हैं। Shabd Aur Pad के बारे में छोटी कक्षा से ही पढ़ाया जाता है क्योंकि यह हिन्दी व्याकरणका महत्वपूर्ण टॉपिक है। तो आइए जानते हैं शब्द और पद के बारे में विस्तार से इस ब्लॉग में। This Blog Includes:
शब्द किसे कहते हैं?शब्द मात्राओं और वर्णों के मेल से बनते हैं। शब्द सार्थक वर्ण-समूह या अक्षर-समूह होते हैं। शब्द स्वतन्त्र रूप में प्रयुक्त होते हैं। वर्णों का वही समूह शब्द कहलाता है, जिसका प्रयोग स्वतन्त्र रूप से होता है।
जब आप एक से अधिक वर्णों को मिलाकर कोई शब्द बनाते हैं, तो आवश्यक नहीं कि उसे शब्द कहा जाए वह एक सार्थक अर्थात् अर्थपूर्ण शब्द होना चाहिए तभी उसे शब्द की परिभाषा दी जा सकती है। पद किसे कहते हैं?जब किसी सार्थक शब्द का प्रयोग वाक्य में होता है तो उसे पद कहते हैं। सरल भाषा में समझे तो काल, वचन और लिंग आदि के वर्णो को पद कहा जाता है। कारक, वचन, लिंग, पुरुष इत्यादि में बँधकर शब्द ‘पद’ बन जाता है।
ऊपर दिए गए उदाहरण में ‘सीता’ और ‘ईश्वर’ शब्द वाक्य में प्रयुक्त होकर पद में परिवर्तन हो जाते हैं। शब्दों के भेदहिंदी में जिन शब्दों का प्रयोग होता है उनके स्रोत अलग अलग हैं,
शब्दों के भेद निम्नलिखित आधार पर किए जाते हैं-
उत्पत्ति के आधार परशब्दों को चार वर्गों में बाँटा जाता है – तत्सम शब्द-जो शब्द अपरिवर्तित रूप में संस्कृत भाषा से लिए गए हैं या जिन्हें संस्कृत के मूल शब्दों से संस्कृत के ही, प्रत्यय लगाकर नया निर्माण किया गया है, वह तत्सम शब्द कहलाते हैं। तत्सम शब्द दो शब्दों से बना होता है, ‘तत्’ और ‘सम’ जिसका यह अर्थ होता है कि संस्कृत के अनुसार। उदाहरण
तद्भव शब्द- शब्द जो संस्कृत भाषा से उत्पन्न हो चुके हैं, पर उन्हें हिंदी में प्रयोग नहीं किया जा सकता है, परंतु इनके रूप में परिवर्तन आ जाता है, तद्भव शब्द कहलाते हैं। तद्भव शब्द दो शब्दों से मिलकर बना है; जैसे – ‘तद्’ और ‘भव’। इसका यह अर्थ होता है कि उसी से उत्पन्न हुआ। उदाहरण
देशज शब्द- वे शब्द जिनका स्त्रोत संस्कृत नहीं है किंतु वे भारत में ग्राम्य क्षेत्रों तथा जनजातियों में बोली जाने वाली तथा संस्कृत से अलग भाषा परिवारों के हैं ,वह देशज शब्द कहलाते हैं। इसका उपयोग हिंदी में इसलिए होता है क्योंकि ये शब्द क्षेत्रीय प्रभाव के कारण हिंदी में प्रयुक्त होते हैं। उदाहरण
आगत या विदेशी शब्द– विदेशी भाषाओं से संपर्क के कारण अनेक शब्द हिंदी में प्रयोग होने लगे हैं यह जो शब्द हैं वह आगत या विदेशी शब्द कहलाते हैं। नीचे कुछ उदाहरण भी गए हैं हिंदी में प्रयुक्त विदेशी शब्द निम्नलिखित हैं– अरबी शब्द के उदाहरण
फारसी शब्द के उदाहरण
अंग्रेज़ी शब्द के उदाहरण
पुर्तगाली शब्द के उदाहरण
चीनी शब्द के उदाहरण
यूनानी शब्द के उदाहरण
जापानी शब्द के उदाहरण
फ्रांसीसी शब्द के उदाहरण
बनावट या रचना के आधार परबनावट की भिन्नता के आधार पर बहुत सारे शब्दों को तीन वर्गों में बाँटा गया है। कुछ शब्द निम्नलिखित हैं- रूढ़ शब्द जिन शब्दों के सार्थक खंड न किए जा सकें और जो शब्द लंबे समय से किसी विशेष अर्थ के लिए प्रयोग हो रहे हैं या काम में आ रहे हो, वे शब्द रूढ़ शब्द कहलाते हैं। उदाहरण-
यौगिक शब्द जब दो या दो से अधिक शब्दों या शब्दांशों द्वारा निर्मित शब्दों होते हैं वे यौगिक शब्द कहलाते हैं। उदाहरण –
योगरूढ़ शब्द जो यौगिक शब्द किसी विशेष अर्थ को प्रकट करते हैं या उसके बारे में बताते हैं, वह योगरूढ़ शब्द कहलाते हैं। उदाहरण –
प्रयोग के आधार परप्रयोग के आधार पर शब्द तीन प्रकार के होते हैं वे निम्नलिखित हैं – सामान्य शब्द जिन शब्दों का प्रयोग दिन-प्रतिदिन के कार्य-व्यवहार में होता है इसका यह मतलब है कि रोज होता है, वह सामान्य शब्द कहलाते हैं। उदाहरण-
अर्ध तकनीकी शब्द जो शब्द दिन-प्रतिदिन के कार्य-व्यवहार में भी प्रयोग में लाए जाते हैं तथा किसी विशेष उद्देश्य के लिए ही इनका प्रयोग किया जाता है इसका यह मतलब है कि रोज के प्रयोग में आते हो और किसी विशेष उद्देश्य के बारे में बताते हो वह अर्ध तकनीकी शब्द कहलाते हैं। उदाहरण नीचे दिए गए हैं-
तकनीकी शब्द किसी क्षेत्र विशेष में प्रयोग की जाने वाली शब्दावली के शब्दों को इसका यह मतलब है कि विशेष क्षेत्र में प्रयोग किए जाने वाले शब्द, वह तकनीकी शब्द कहलाते हैं। अर्थ के आधार पर शब्दों का वर्गीकरणनिरर्थक शब्द जो शब्द अर्थहीन होते हैं, वह शब्द निरर्थक शब्द कहलाते हैं। यह वह शब्द होते हैं जो सार्थक शब्दों के पीछे लग उनका अर्थ-विस्तार करते हैं। उदाहरण नीचे दिए गए हैं-
सार्थक शब्द जिन शब्दों का कुछ न कुछ अर्थ होता है, वह सार्थक शब्द कहलाते हैं। उदाहरण नीचे दिए गए हैं-
सार्थक शब्द अनेक प्रकार के है, जो नीचे निम्नलिखित किए गए हैं – (i) एकार्थी शब्द– जिन शब्दों का केवल एक निश्चित अर्थ होता है, वह शब्द एकार्थी शब्द कहलाते हैं। उदाहरण-
(ii) अनेकार्थी शब्द- जिन शब्दों के एक से अधिक अर्थ होते हैं, वह अनेकार्थी शब्द कहलाते हैं। उदाहरण-
(iii) समानार्थी या पर्यायवाची शब्द- जो शब्द एक समान (लगभग एक सा ही) अर्थ का बोध कराते हैं, वह पर्यायवाची शब्द कहलाते हैं। पर्याय का अर्थ है दूसरा, इसका यह अर्थ होता है कि उसी प्रयोजन या वस्तु के लिए दूसरा शब्द, इनका अर्थ लगभग एक समान होता है परंतु पूर्ण रूप से समान नहीं होते। उदाहरण –
(iv) विपरीतार्थक शब्द- हिंदी भाषा के प्रचलित शब्दों के विपरीत अर्थ देने वाले शब्दों ,वह विपरीतार्थक शब्द कहलाते हैं। उदाहरण नीचे दिए गए हैं-
पद के भेदपद के भेद इस प्रकार हैं:
शब्द और पद में अंतर
शब्द पद कब बन जाता है?जब किसी भी प्रकार का सार्थक शब्द वाक्य में प्रयुक्त होता है तब वह ‘पद’ कहलाता है। परंतु जब शब्द का प्रयोग वाक्य में होता है तब उसका रूप बदल जाता है, इसी कारण से वाक्य में प्रयुक्त होने पर शब्द ‘पद’ बन जाता है। शब्द और पद कक्षा 9 और 10 MCQ1.पद के बारे में कौन सा कथन सत्य है? A. पद और शब्द स्वतंत्र इकाई हैं | उत्तर: वाक्य में प्रयुक्त शब्द पद कहलाता है | 2. उत्पति के आधार पर शब्द के कितने भेद होते है? A.2 उत्तर: 4 3. संस्कृत के ऐसे शब्द जिसे हम ज्यों का त्यों प्रयोग में लाते है कहलाते है? A.तत्सम उत्तर: तत्सम 4. निम्न में रूढ़ शब्द कौन सा है? A.वाचनालय उत्तर: पशु 5. जब शब्द वाक्य में प्रयोग किया जाता है, तो उसे क्या कहते हैं- A. वर्ण उत्तर: पद 6. शब्द रचना के आधार पर बताइये कि कौन सा शब्द योगरूढ़ है? A.पवित्र उत्तर: जलज 7. परीक्षा शब्द निम्न वर्गों में से किस वर्ग में आता है? A.तत्सम उत्तर: तत्सम 8 . मजिस्ट्रेट शब्द है? A.तत्सम उत्तर: विदेशी FAQsShabd aur Pad क्या होता है? एक से अधिक वर्णों के मिलने से बने सार्थक वर्ण-समूह जो बनता है वह शब्द कहलाता हैं। जैसे -सोहन, खीर, मीरा, खेलता। जब किसी भी प्रकार का सार्थक शब्द वाक्य में प्रयुक्त होता है तब वह पद कहलाता है। Shabd aur Pad में क्या अंतर है? वर्णों की स्वतंत्रा और सार्थक को शब्द कहते हैं। लेकिन अगर शब्द वाक्य में प्रयुक्त हो जाता है तो उसे पद कहते हैं। पद क्या होता है ? जब किसी भी प्रकार का सार्थक शब्द वाक्य में प्रयुक्त होता है तब वह ‘पद’ कहलाता है। शब्द कब पद बनता है उदाहरण देकर स्पष्ट कीजिए? जब शब्द का प्रयोग वाक्य में होता है तब उसका रूप बदल जाता है, इसी कारण से वाक्य में प्रयुक्त होने पर शब्द पद बन जाता है। जैसे – रवि आम खा रहा है। इस में रवि, आम, खा रहा है ये सभी पद है। स्रोत के आधार पर शब्द के कितने भेद हैं? स्रोत के आधार पर शब्द के पाँच भेद होते हैं। आशा करते हैं कि आपको shabd aur pad ब्लॉग अच्छा लगा होगा। यदि आप विदेश में पढ़ना चाहते हैं तो हमारे Leverage Edu के एक्सपर्ट्स से 1800 572 000 पर कॉल करके आज ही 30 मिनट का फ्री सेशन बुक कीजिए। शब्द जब वाक्य में प्रयोग होता है तो क्या कहलाता है *?Solution : शब्द वाक्य प्रयोग व्यावहारिकता <br> श्री घनश्यामदास जी नगर में अपनी व्यावहारिकता के कारण पहचाने जाते हैं। आदर्श लालबहादुर शास्त्री ने प्रधानमंत्री के रूप में देश के सामने <br> आदर्श प्रस्तुत किया। सूझ-बूझ शिकारी ने अपनी सूझ-बूझ से जंगली जानवर का शिकार कर साथियों की रक्षा की।
शब्द को वाक्य में प्रयोग को क्या कहा जाता है?एक शब्द 'बेर' का दो अर्थों मे प्रयोग करने से वाक्य में चमत्कार आ गया। इसे यमक अलंकार कहा जाता है। कभी-कभी उच्चारण की समानता से शब्दों की पुनरावृत्ति का आभास होता है जबकि दोनों दो प्रकार के शब्द होते हैं; जैसे- मन का मनका।
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