पापा खो गए पाठ की विधा क्या है? - paapa kho gae paath kee vidha kya hai?

पापा खो गए

प्रश्न / उत्तर

प्रश्न-1"पापा खो गए" पाठ की विधा क्या है? 

उत्तर -पापा खो गए" पाठ की विधा 'कहानी' है।

प्रश्न-2खंभा, पेड़ और लैटरबक्स कहाँ थे?

उत्तर -  खंभा, पेड़ औरलैटरबक्ससमुद्रकेसामनेथे।

प्रश्न-3खंभे को कौन सी रातें अच्छी नहीं लगती? 

उत्तर -खंभे को बरसात की रातें अच्छी नहीं लगती।

प्रश्न-4आसमान से गड़गड़ाती बिजली किस पर गिर पड़ी थी?

उत्तर -  आसमानसेगड़गड़ातीबिजलीपेड़परगिरपड़ीथी।

प्रश्न-5खंभा बीमार क्यों नहीं पड़ता था?

उत्तर -  खंभा लोहेकाबनाथा  इसलिएवहबीमारनहींपड़ताथा।

प्रश्न-6नाटक में आपको सबसे बुद्धिमान पात्र कौन लगा और क्यों? 

उत्तर - नाटक मेंसबसेबुद्धिमानपात्रकौआलगाहैक्योंकिअंतमेंकौआहीलड़कीकोसहीसलामत उसकेघरपहुँचानेकीतरकीबसोचताहै।

प्रश्न-7लैटरबक्स को सभी लाल ताऊ कहकर क्यों पुकारते थे? 

उत्तर -लैटरबक्स ऊपर से नीचे तक पूरा सिर्फ़ लाल रंग में रंगा हुआ था। वह बड़ों की तरह बातें भी करता था इसलिए उसे सभी लाल ताऊ कहकर पुकारते थे।

प्रश्न-8खंभे को बरसात की रात क्यों पसंद नहीं थी?

उत्तरखंभे को बरसात की रात में भीगते हुए, तेज़ हवाओं में भी बल्ब को पकड़कर खड़ा रहना पड़ता था इसलिए उसे बरसात की रात पसंद नहीं थी।

प्रश्न-9कौन सी घटना याद आते ही पेड़ का अंग थर - थर काँपने लगता है?

उत्तरएकरातआसमानसेगड़गड़ातीबिजलीपेड़परगिरपड़ीथी।अबजबकभीबारिशहोतीहै तोउसेउसरातकीयादहोजातीहैऔरउसकाअंगथर - थरकाँपनेलगताहै।

प्रश्न-10 पेड़ के जन्मस्थान में समय के साथ क्या - क्या बदलाव आया है?

उत्तर - वहाँके, वेसबऊँचे - ऊँचेघरनहींथेतब।सड़कभीनहीं थी।वहसिनेमाकाबड़ासापोस्टरऔरउसमेंनाचनेवालीऔरतभीतबनहींथी।सिर्फ़ सामनेकावहसमुद्रथा। 

प्रश्न-11किसके कहने पर सब ने खंभे को बिठाया और खंभे को बैठ कर कैसा लगा?

उत्तर -  बच्चीकेज़िदकरनेपर सबमिलकरबड़ेयत्नसेखंभेकोबैठातेहैं।बैठनेमेंउसेबहुततकलीफ़होतीहै, लेकिनबादमेंबैठजाताहै।उसेबैठकरबहुतअच्छालगताहै।

प्रश्न-12लाल ताऊ किस प्रकार बाकी पात्रों से भिन्न है? 

उत्तर -पूरे नाटक में केवल लाल ताऊ ही एक ऐसा पात्र है जिसे पढ़ना-लिखना आता है। उसे भजन गाना भी आता है। लाल ताऊ के ये ही गुण उसे अन्य सभी पात्रों से भिन्न बनाते हैं।

प्रश्न-13लैटरबक्स को अपना बहुत महत्व क्यों लगता है? 

उत्तर - लैटरबक्ससबकी चिट्ठीसँभालकररखताहै।अगरवहकिसीकीचिठ्ठीपढ़भीलेतबभीउसमेंलिखी गुप्तबातेंवहअपनेतकहीरखताहै।इसीलिएलैटरबक्सकोअपनाबहुतमहत्वलगताहै।

प्रश्न-14 क्या वजह थी कि सभी पात्र मिलकर भी लड़की को उसके घर नहीं पहुँचा पा रहे थे?

उत्तर -   सभीपात्रमिलकरभीलड़कीकोउसकेघरपरनहींपहुँचापा रहेथेक्योंकिलड़कीइतनीछोटीथीकिउसेअपनेघरकापता, गलीकानाम, सड़क कानाम, घरकानंबरयहाँतककीअपनेपापाकानामतकनहींमालूमथा।

प्रश्न-15 पेड़ और खंभे में दोस्ती कैसे हुई? 

उत्तर -खंभा शुरू - शुरू में पेड़ से बात नहीं करता था। कई बार पेड़ ने खंभे से बात करने की कोशिश की पर खंभे ने अपने अकड़ के कारण कभी पेड़ से बात नहीं की। अंत में पेड़ ने भी उससे बात करना छोड़ दिया। फिर एक दिन तेज़ आँधी में खंभा पेड़ पर गिर पड़ा। पेड़ ने खंभे को संभाल लिया पर स्वयं ज़ख्मी हो गया। यह देखकर खंभे का गरूर ख़त्म हो गया और उस दिन से दोनों में दोस्ती हो गई।

प्रश्न-16 कौए ने लड़की को उसके घर पहुँचाने की कौन सी तरकीब सोची?

उत्तर -  कौए ने लड़की को बचाने के लिए एक तरकीब सोची। उसनेपेड़कोकहाकिवहसुबहतकअपनीघनीछाया किएरहेजिससेलड़कीदेरतकसोतीरहे।फिरखंभेकोटेढ़ाखड़ेहोनेकोकहाजिससे पुलिसकोलगेकिवहाँकोईएक्सीडैंटहुआहै।  ऐसादेखकरपुलिसजबवहाँआएगीऔर बच्चीकोदेखेगीतोउसेउसकेघरपहुँचादेगी।यहसुनकरखंभाकहताहैअगरपुलिस नहींआयीतो?”, इसपरकौआबोलताहैकितबवहकाँव - काँवकरकेलोगोका ध्यानइधरखींचेगा।यहसबसुनकरलैटरबक्सकहताहैअगरफिरभीकोईनहींआयातो?”, तब कौआलैटरबक्सकोउससिनेमाकेपोस्टरपरसूचनालिखनेकोकहताहैकि "पापाखो गए"। सुबहहोनेपरसभीयोजनाअनुसारअपना - अपनाकामशुरूकरदेतेहैं।  

प्रश्न-17 नाटक में बच्ची को बचानेवाले पात्रों में एक ही सजीव पात्र है। उसकी कौन-कौन सी बातें आपको मज़ेदार लगीं? लिखिए।

उत्तरनाटक में बच्ची को बचाने वाले पात्रों में कौआ ही एक मात्र सजीव पात्र है। उसकी कुछ मज़ेदार बातें हैं -

   i.     “वह दुष्ट है कौन? पहले उसे नज़र तो आने दीजिए।”

  ii.     "ताऊ, एक जगह बैठे रहकर यह कैसे जान सकोगे? उसके लिए तो मेरी तरह रोज़ चारों दिशाओं में गश्त लगानी पड़ेगी, तब जान पाओगे यह सब।"

 iii.     लड़की के कहने पर "कि वहाँ से आई आवाज़", कौए का चोंच दबाकर कहना “मैंनें नहीं की”

 iv.     एकदम कौए का भूत! चिल्लाना।

  v.     “सुबह जब हो जाए तो पेड़ राजा, आप अपनी घनी-घनी छाया इस पर किए रहें। वह आराम से देर तक सोती रहेगी।"

पापा खो गए में कौन सी विधा है?

उत्तर - पापा खो गए" पाठ की विधा 'कहानी' है। प्रश्न-2 खंभा, पेड़ और लैटरबक्स कहाँ थे?

पापा खो गए पाठ का उद्देश्य क्या है?

Solution : पापा खो गए. लघु नाटिका पाठ से हमें यह शिक्षा मिलती है कि हमें समाज के असामाजिक तत्त्वों को समाप्त करने का प्रयास करना चाहिए और उन्हें दण्डित करवाने में पुलिस का सहयोग करना चाहिए। इसके साथ ही मातापिता की परेशानियों को समझते हुए बच्चों को पढ़ाई में ध्यान लगाना चाहिए।

पापा खो गए कहानी का नैतिक क्या है?

"पापा खो गए" एक बेहद दिलचस्प एयर मनोरंजक नाटक है। नाटक मैं एक पेड़, खंभा, लेटर बॉक्स और पोस्टर वाली लड़की मुखिया कलाकार हैं। एक बार एक बच्चा चोर एक छोटी सी लड़की को उठा लता है तो खंभा, लेटरबॉक्स और पेड हमें बच्चों की सुरक्षा को लेकर चिंता होते हैं

पापा खो गए पाठ की क्या विशेषता है?

उत्तर:- लड़की को अपने पापा का नाम-पता कुछ भी मालूम नहीं था। कहानी के सभी पात्र मिलकर उसके पापा को खोजने की योजना बनाते हैं इसी कारण इस नाटक का नाम 'पापा खो गए' रखा गया होगा। इसका अन्य शीर्षक 'लापता बच्ची' भी रखा जा सकता है क्योंकि इस नाटक में पूरे समय इसी बच्ची के घर का पता लगाने का प्रयास किया जाता है।