डाबर जन्म घुट्टी कैसे पिलाया जाता है? - daabar janm ghuttee kaise pilaaya jaata hai?

  • उत्पादक: Dabur
  • रखने का तरीका: सामान्य तापमान में रखें

Dabur Janma Ghunti

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  • उत्पादक: Dabur
  • रखने का तरीका: सामान्य तापमान में रखें


Dabur Janma Ghunti की सामग्री - Dabur Janma Ghunti Active Ingredients in Hindi

अमलतास
  • ये दवाएं मल त्याग करने की प्रक्रिया में सुधार करती हैं और कब्ज से राहत प्रदान करने में उपयोगी हैं।
अजवाइन
  • ऐसे एजेंट जो डायरिया के लक्षणों को रोकते हैं और उनसे राहत दिलाते हैं।
  • घटक जो पेट व आंत की गैस से राहत दिलाते हैं।
  • ये एजेंट पेट के पीएच स्तर को बेहतर बनाने में मदद करते हैं।
अंजीर
  • ये दवाएं लिवर के कार्य में सुधार करते हैं और इसे संक्रमण से बचाते हैं।

Dabur Janma Ghunti के लाभ - Dabur Janma Ghunti Benefits in Hindi

Dabur Janma Ghunti इन बिमारियों के इलाज में काम आती है -

मुख्य लाभ

  • बच्चों में कब्ज

अन्य लाभ

  • पेट की गैस
  • दस्त (और पढ़ें - Ayurvedic medicine, treatment and remedies for Diarrhea)

डाबर जन्म घुट्टी कैसे पिलाया जाता है? - daabar janm ghuttee kaise pilaaya jaata hai?


Dabur Janma Ghunti की खुराक - Dabur Janma Ghunti Dosage in Hindi

यह अधिकतर मामलों में दी जाने वाली Dabur Janma Ghunti की खुराक है। कृपया याद रखें कि हर रोगी और उनका मामला अलग हो सकता है। इसलिए रोग, दवाई देने के तरीके, रोगी की आयु, रोगी का चिकित्सा इतिहास और अन्य कारकों के आधार पर Dabur Janma Ghunti की खुराक अलग हो सकती है।

आयु वर्ग खुराक
शिशु(1 महीने से 2 वर्ष)
  • मात्रा: निर्धारित खुराक का उपयोग करें
  • खाने के बाद या पहले: कभी भी दवा ले सकते हैं
  • अधिकतम मात्रा: 5 ml
  • दवा का प्रकार: लिक्विड
  • दवा लेने का माध्यम: मुँह
  • आवृत्ति (दवा कितनी बार लेनी है): दिन में एक बार
  • दवा लेने की अवधि: उपचार लम्बे समय तक जारी रहेगा
नवजात शिशु(0 से 1 महीने)
  • मात्रा: निर्धारित खुराक का उपयोग करें
  • खाने के बाद या पहले: कभी भी दवा ले सकते हैं
  • अधिकतम मात्रा: 20 ड्रॉप
  • दवा का प्रकार: लिक्विड
  • दवा लेने का माध्यम: मुँह
  • आवृत्ति (दवा कितनी बार लेनी है): दिन में एक बार
  • दवा लेने की अवधि: 1 महीने


Dabur Janma Ghunti के नुकसान, दुष्प्रभाव और साइड इफेक्ट्स - Dabur Janma Ghunti Side Effects in Hindi

चिकित्सा साहित्य में Dabur Janma Ghunti के दुष्प्रभावों के बारे में कोई सूचना नहीं मिली है। हालांकि, Dabur Janma Ghunti का इस्तेमाल करने से पहले हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह-मशविरा जरूर करें।

डाबर जन्म घुट्टी कैसे पिलाया जाता है? - daabar janm ghuttee kaise pilaaya jaata hai?


  • क्या Dabur Janma Ghunti का उपयोग गर्भवती महिला के लिए ठीक है?


    Dabur Janma Ghunti के इस्तेमाल की सलाह सिर्फ पुरुषों को दी जाती है। महिलाओं को इसका उपयोग करने से पहले चिकित्सक से बात कर लेनी चाहिए।

    महिलाओं के लिए प्रतिबंधित

  • क्या Dabur Janma Ghunti का उपयोग स्तनपान करने वाली महिलाओं के लिए ठीक है?


    Dabur Janma Ghunti के इस्तेमाल की सलाह महिलाओं को नहीं दी जाती है, इसलिए महिलाओं को इसके इस्तेमाल से पहले एक बार डॉक्टर से बात कर लेनी चाहिए।

    महिलाओं के लिए प्रतिबंधित

  • Dabur Janma Ghunti का पेट पर क्या असर होता है?


    बिना किसी डर के आप Dabur Janma Ghunti ले सकते हैं। यह पेट के लिए सुरक्षित है।

    सुरक्षित

  • क्या Dabur Janma Ghunti का उपयोग बच्चों के लिए ठीक है?


    बच्चों के लिए Dabur Janma Ghunti सुरक्षित है, वे इसका सेवन कर सकते हैं।

    सुरक्षित


Dabur Janma Ghunti कैसे खाएं - Dabur Janma Ghunti How to take in Hindi

आप Dabur Janma Ghunti को निम्नलिखित के साथ ले सकते है:

  • क्या Dabur Janma Ghunti को गुनगुना पानी के साथ ले सकते है?

    डाबर जन्म घुट्टी कैसे पिलाया जाता है? - daabar janm ghuttee kaise pilaaya jaata hai?

    हां, Dabur Janma Ghunti को गुनगुने पानी के साथ लेने से कोई हानिकारक प्रभाव नहीं पड़ता है।


इस जानकारी के लेखक है -

डाबर जन्म घुट्टी कैसे पिलाया जाता है? - daabar janm ghuttee kaise pilaaya jaata hai?

Dr. Braj Bhushan Ojha

BAMS, गैस्ट्रोएंटरोलॉजी, डर्माटोलॉजी, मनोचिकित्सा, आयुर्वेद, सेक्सोलोजी, मधुमेह चिकित्सक
10 वर्षों का अनुभव


संदर्भ

Ministry of Health and Family Welfare. Department of Ayush: Government of India. [link]. Volume 1. Ghaziabad, India: Pharmacopoeia Commission for Indian Medicine & Homoeopathy; 1986: Page No 9-10

Ministry of Health and Family Welfare. Department of Ayush: Government of India. [link]. Volume 1. Ghaziabad, India: Pharmacopoeia Commission for Indian Medicine & Homoeopathy; 1986 : Page No 101 - 102

डाबर जन्म घुट्टी कैसे पिलाना चाहिए?

उन्होंने बताया कि नवजात बच्चे को जन्म घुट्टी, पानी, शहद और अन्य कुछ भी नहीं देना चाहिए। छह माह के बाद ही नवजात को अन्य खुराक देने की शुरुआत की जानी चाहिए

जन्म घुट्टी बच्चे को कब पिलाना चाहिए?

विश्व स्‍वास्‍थ्‍य संगठन (WHO) की मानें तो नवजात शिशु को छह महीने का होने तक मां के दूध या फॉर्मूला मिल्‍क के अलावा और कुछ नहीं देना चाहिए। डॉक्‍टर भी नवजात शिशु को घुट्टी पिलाने से मना करते हैं।

जन्म घुट्टी बच्चे को कैसे दें?

​जन्‍म घुट्टी बनाने का तरीका.
दूध उबलने के बाद इसे ठंडा होने दें।.
ठंडा होने पर इस दूध की दही जमा दें।.
जब दही जम जाए तो उसमें से जायफल निकाल लें।.
जायफल को घिसें और घिसते समय एक या दो बूंद गुनगुना पानी उसमें डालें।.
अब घिसे हुए पदार्थ को बच्‍चे को चटाएं।.

बच्चे को 555 घुट्टी कब से देना चाहिए?

मुगली घुट्टी 555 से ये केवल लाभकारी होती है। कुछ पैरेंट्स तो बच्‍चे के जन्‍म के पहले दिन से ही घुट्टी पिलाना शुरू कर देते हैं। क्योंकी दादी नानी का मानना होता था कि इससे इम्‍यूनिटी बढ़ती है, बच्चो के दांत निकलने पर मदद करती है, दस्‍त होने पर , कब्‍ज की समस्या मे और कोलिक पेन जैसी समस्‍याओं से राहत देती है।

डाबर जन्म घुट्टी पिलाने से बच्चों को क्या फायदा होता है?

छोटे बच्चों के विकास के लिए इस दवा से उन्हें जरूर लाभ मिलता है। अगर छोटे बच्चों में पेट के कीड़े की समस्या हो रही है तो ऐसी समस्याओं में कई सारे माता-पिता परेशान हो जाते हैं, लेकिन डाबर जन्म घुट्टी इस पेट के कीड़ों को खत्म करने के लिए बहुत ही गुणकारी है।