1926 में भारत का वायसराय कौन था? - 1926 mein bhaarat ka vaayasaraay kaun tha?

आज इस आर्टिकल में हम आपको भारत के वायसराय की लिस्ट दे रहे है जो 1856 ई. से लेकर 1950 ई. तक भारत के वायसराय के पद पर थे.

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भारत के वायसराय

1926 में भारत का वायसराय कौन था? - 1926 mein bhaarat ka vaayasaraay kaun tha?

लार्ड कैनिंग (1856 ई. – 1862 ई.)

लार्ड कैनिंग भारत में कंपनी द्वारा नियुक्त अंतिम गवर्नर जनरल तथा ब्रिटिश के अधीन नियुक्त भारत का प्रथम वायसराय था.

इसके समय में ही 1857 का महत्वपूर्ण विद्रोह हुआ था.

1858 का भारतीय परिषद अधिनियम पारित कैनिंग ने ही कोलकाता, मुंबई और मद्रास विश्वविद्यालय की स्थापना (1857 ई.) की.

लार्ड एल्गिन (1862 ई. – 1863 ई.)

बहावी आंदोलन का दमन तथा 1863 ई. में इसकी मृत्यु भारत में हुई.

सर जान लारेंस (1864 ई. – 1868 ई.)

इनके कार्यकाल में भूटान का महत्वपूर्ण युद्ध हुआ.

अफगानिस्तान के सन्दर्भ में लारेंस ने अहस्तक्षेप की नीति का पालन किया और तत्कालीन शासक शेरअली से दोस्ती की अकाल आयोग का गठन.

लॉर्ड मेयो (1869 ई. – 1872 ई.)

आयकार को 1% बढ़ाकर 2.5% कर दिया.

इसने कृषि विभाग तथा भारतीय सांख्यिकी सर्वेक्षण विभाग की स्थापना की.

इसके समय में ही भारत में पहली बार जनगणना की शुरुआत हुई.

अजमेर में मेयो कॉलेज को स्थापना की .

भारत में लॉर्ड मेयो हत्या कर दी गई.

लार्ड नार्थ ब्रुक (1872 ई. – 1876 ई. तक)

इसके समय में बिहार बंगाल में भयानक अकाल पड़ा.

पंजाब का प्रसिद्ध कूका आंदोलन इसी के समय में हुआ.

इसी के समय में प्रिंस ऑफ वेल्स भारत आये.

लॉर्ड लिटन (1876 ई. – 1880 ई.)

यह उपन्यासकार, निबंधकार, लेखक एवं साहित्यकार था इसे ओवन मैरिडिथ के नाम से जाना जाता था.

1876-78 में भयंकर अकाल पड़ा जिसमें 50 लाख व्यक्ति मारे गये.

इसकी जांच के लिए रिचर्ड स्टेची की अध्यक्षता में एक अकाल आयोग का गठन.

1 जनवरी, 1877 ई. को ब्रिटेन की महारानी को कैसर-ए-हिंद की उपाधि से सम्मानित करने के लिए दिल्ली में भव्य दिल्ली दरबार का आयोजन किया.

द्वितीय अफगान युद्ध (1878-80) हुआ. मार्च 1878 ई. मे लिटन ने वर्नाम्युलर प्रेस एक्ट पारित कर भारतीय समाचार पत्रों पर कठोर प्रतिबंध लगा दिया.

लार्ड रिपन (1880 ई. – में 1884 ई.)

इसके समय में प्रथम फैक्ट्री अधिनियम, भारत में नियमित जनगणना की शुरुआत तथा स्थानीय स्वशासन की शुरुआत (1882 ई.) विलियम हंटर के नेतृत्व में शैक्षिक सुधारों के लिए ‘हंटर आयोग’ की स्थापना तथा इल्वर्ट विधेयक प्रस्तुत किया.

लार्ड डफरिन (1884 ई. – में 1888 ई.)

तृतीय आंग्ल बर्मा युद्ध (1885-86 ई.) जिसमे वर्मा पराजित हुआ तथा इसी के समय भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का गठन.

लॉर्ड लैंसडाउन (1888 ई. – 1894 ई.)

भारत और अफगानिस्तान के मध्य सीमा का निर्धारण जिसे ‘डूरंड लाइन’ के नाम से जाना जाता है.

इस के समय में 1891 ई. में दूसरी फैक्ट्री अधिनियम पारित.

लॉर्ड एल्गिन द्वितीय (1894 ई. – 1899 ई.)

1895 से 1898 में भयंकर अकाल पड़ा जिसकी जांच के लिए ‘लायड आयोग’ का गठन.

मुंडा विद्रोह तथा चापेकर बंधुओं द्वारा दो अंग्रेज अधिकारियों की हत्या की घटना.

लार्ड कर्जन (1899 ई. – 1905 ई.)

पुलिस सुधार के लिए आयोग का गठन.

शैक्षिक सुधार के अंतर्गत भारतीय विश्व विद्यालय अधिनियम (1904) पारित.

सर्वाधिक रेलवे लाइन का विकास. इसके समय में भारतीय पुरातत्व विभाग की स्थापना (1904 ई.) तथा सबसे महत्वपूर्ण घटना 1905 ई. का बंगाल विभाजन था.

लॉर्ड मिंटो II (1905 ई. – 1910 ई.)

इसके समय में भारतीय परिषद् एक्ट 1909 ई. अथवा मिंटो-मार्ले सुधार हुआ.

आगा खाँ द्वारा 1906 ई. में मुस्लिम लीग की स्थापना की तथा 1907 ई. में कांग्रेस का सूरत अधिवेशन हुआ जिसमें कांग्रेस दो धरों में विभाजित हो गया.

लॉर्ड हार्डिंग II (1910 ई. – 1916 ई.)

जार्ज पंचम का भारत आगमन (12 दिसंबर 1911 ई.), बंगाल विभाजन रद्द करने की घोषणा (1911 ई.) एंव भारत की राजधानी कोलकाता से दिल्ली स्थानांतरित करने की घोषणा (1911 ई.) में शामिल है.

4 अगस्त, 1914 में प्रथम विश्व युद्ध प्रारंभ हुआ. तिलक एंव एनी वेसेन्ट ने होमरूल लीग (1916 ई.) की स्थापना की.

लॉर्ड चेम्सफोर्ड (1916 ई. – 1921 ई.)

रौलेट एक्ट (1919 ई.) पास हुआ.

जलियांवाला बाग हत्याकांड (13 अप्रैल, 1919) खिलाफत आन्दोलन (1920-21 ई.) एवं गांधी जी के सत्याग्रह असयोग आंदोलन (1920 ई.) की शुरुआत तथा तृतीय अफगान युद्ध आदि

लार्ड रीडिंग (1921 ई. – 1926 ई.)

गांधी जी द्वारा चलाया गया पहला असहयोग आंदोलन चौरी-चौरा घटना (1922 ई.) के कारण समाप्त. प्रिंस ऑफ वेल्स ने नवंबर 1921 ई. में भारत की यात्रा की.

भोपाल विद्रोह (1921 ई.) एम.एन. राय द्वारा 1921 ई. में ‘भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी’ का गठन किया गया.

1923 ई. में प्रशासनिक सेवाओ में भारत एवं लंदन में एक साथ परीक्षा की शुरूआत तथा काकोरी रेल कांड इसी के काल की घटनाएं है.

लार्ड इरविन (1926 ई. – 1931 ई.)

साइमन कमीशन (1928 ई.) गांधी द्वारा 6 अप्रैल, 1930 ई. में सविनय अवज्ञा आंदोलन प्रारंभ.

लंदन में नवंबर, 1931 ई. में प्रथम गोलमेज सम्मेलन का आयोजन.

गांधी इरविन समझौता (5 मार्च, 1930 ई.) को हुआ.

लॉर्ड विलिंगटन (1931 ई. – 1936 ई.)

द्वितीय गोलमेज सम्मेलन (1931) में गाँधी ने कांग्रेस की तरफ से प्रतिनिधित्व किया.

पूना समझौता गांधी व अम्बेडकर के बीच (26 सितंबर, 1932) सांप्रदायिक अधिनियम तथा 1932 में तृतीय गोलमेज सम्मेलन हुआ.

लार्ड लिनलिथगो (1936 ई. – 1944 ई)

1 सितंबर, 1939 को द्वितीय विश्व युद्ध की शुरुआत.

अप्रैल, 1939 ई. में सुभाष चंद्र बोस ने फॉरवर्ड ब्लॉक की स्थापना की.

1940 ई. में पहली बार पाकिस्तान की मांग की गई.

अगस्त प्रस्ताव (8 अगस्त, 1940), 1942 ई. में क्रिप्स मिशन भारत आया तथा 1942 ई. में कांग्रेस ने भारत छोड़ो आंदोलन प्रारंभ किया.

लार्ड वैवेल (1944 ई. – 1947 ई.)

शिमला समझौता (1945 ई.). कैबिनेट मेशन (1946 ई.) में भारत आया तथा तत्कालीन ब्रिटिश प्रधानमंत्री एटली ने भारत को जून, 1948 ई. तक स्वतंत्र करने की घोषणा की.

लार्ड माउंटबेटन (मार्च, 1947 से जून, 1948 ई.)

भारत का अंतिम वायसराय तथा स्वतंत्र भारत का प्रथम गवर्नर जनरल था.

जिसने 3 जून 1947 को यह घोषणा की भारत और पाकिस्तान के रूप में भारत विभाजन ही समस्या का हल है.

चक्रवर्ती राजगोपालचारी (1948 ई. – 1950 ई.)

लार्ड माउंटबेटन की वापसी के बाद 21 जून, 1948 को इनको भारत का गवर्नर जनरल बनाया गया.

ये स्वतंत्र भारत के प्रथम भारतीय व अंतिम गवर्नर जनरल थे.

उनके बाद भारत के संविधान के अनुसार शासन प्रमुख राष्ट्रपति तथा प्रधानमंत्री बनने लगे.

1926 में वायसराय कौन थे?

भारत के गवर्नर जनरल और वायसराय, 1858-1947.

1929 में भारत का गवर्नर जनरल कौन था?

वायसराय (1858-1947) वर्ष 1857 की क्रांति के बाद कंपनी के शासन को समाप्त कर दिया गया। भारत सरकार अधिनियम 1858 (Government of India Act 1858) पारित हुआ। जिसने भारत के गवर्नर जनरल का नाम बदलकर 'भारत का वायसराय' कर दिया।

1925 में भारत के वायसराय कौन थे?

वायसराय (1858-1947): वष 1857 के िवदोह के बाद कंपनी के शासन को समा त कर िदया गया और भारत िबिटश ताज के सीधे िनयं ण मआ गया। भारत सरकार अिधिनयम 1858 (Government of India Act 1858) पािरत हुआ िजसने भारत के गवनर जनरल का नाम बदलकर 'भारत का वायसराय' कर िदया। वायसराय को सीधे िबिटश सरकार ारा िनयु त िकया गया था।

1930 में भारत का वायसराय कौन था?

भारत में वायसराय की सूची | List of Viceroys in India.