किसका जन्मदिन पूरे संसार में मनाया जाता है? - kisaka janmadin poore sansaar mein manaaya jaata hai?

अक्सर जन्मदिन केक पर मोमबत्ती जलाकर मनाया जाता है।


किसी व्यक्ति का जन्मदिन कैलेंडर के अनुसार व्यक्ति के जन्म से पूरे वर्ष के बाद एक विशिष्ट तिथि पर होता है।

आधिकारिक जन्मदिन या जयंती[संपादित करें]

कुछ विशेष लोगों या देवी-देवताओं के जन्मदिन लोग ख़ास तौर पर मनाते हैं। ऐसा जरूरी नहीं है कि यह जन्मदिन उनका वास्तविक जन्मदिन से मेल खाए, बल्कि इसे एक निश्चित दिन के रूप में देखा जाता है। ऐसे दिनों को जयंती कहते हैं।उदाहरणतः-

  • यीशु का जन्मदिन क्रिसमस के तौर पर 25 दिसंबर के रूप में मनाया जाता है।
  • ऑस्ट्रेलिया, फिजी, न्यूजीलैंड और यूनाइटेड किंगडम में राजा या रानी का आधिकारिक जन्मदिन ; कनाडा में इस दिन को विक्टोरिया डे के नाम से जाना जाता है।
  • लक्समबर्ग में ग्रैंड ड्यूक का आधिकारिक जन्मदिन : 23 जून।

जश्न मनाने के तरीक़े[संपादित करें]

एक बच्चे का जन्मदिन का जश्न, केक के साथ।

जन्मदिन का केक पारंपरिक रूप से सजाया जाता है, और आम तौर पर प्रस्तुत किए जाने के समय छोटी मोमबत्तियों से सजाया जाता है। मोमबत्तियों की संख्या जो जश्न मनाने वाले की उम्र को दर्शाती है। जिस व्यक्ति का जन्मदिन है, अक्सर वह माँ में कुछ इच्छा करने के बाद मोमबत्तियां फूँक कर भुझाता है। उसके बाद, व्यक्ति अपने तोहफ़े खोल सकता है।

कई देशों में हैप्पी बर्थ डे टू यू (जन्मदिन मुबारक हो) गीत पारंपरिक रूप से गाया जाता है। इसी तरह के गीत अन्य भाषाओं में मौजूद हैं। यह गीत जन्मदिन पर इस्तेमाल किया जाने वाला एक सामान्य ग्रीटिंग है, साथ ही ग्रीटिंग कार्ड और मौखिक शुभकामनाएं जैसे संदेश के साथ "मैं आपको जन्मदिन की शुभकामनाएं देता हूं" या "जन्मदिन मुबारक हो" इसका प्रयोग किया जाता है।

संदर्भ[संपादित करें]

  • कर्टिस रेगन, डियान (मार्च 1991)। ग्रीष्मकालीन जन्मदिन के साथ कक्षा हेनरी होल्थ एंड कंपनी आईएसबीएन   978-0805016574 ।

जन्मदिन क्यों मनाते हैं: हर साल में एक बार आने वाला जन्मदिन वह दिन होता है जब हम पैदा हुए थे और जीवन की इस खूबसूरत यात्रा की शुरुआत की थी। इस दिन हर कोई हमें हर कोई हमें जन्मदिन की शुभकामनाएं देता है और हम बड़ी खुशी के साथ इस दिन को celebrate करते हैं।

लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि जन्मदिन क्यों मनाया जाता है? जन्मदिन मनाने की परंपरा कैसे शुरू शुरू हुई? जन्मदिन मनाने का क्या महत्व है और क्यों जरूरी है? इस लेख में हमने जन्मदिन से जुड़ी पूरी जानकारी के बारे में चर्चा की है।

दुनिया के लगभग हर कोने में जन्मदिन मनाया जाता है। शायद ही कोई ऐसा व्यक्ति होगा जिसे जन्मदिन मनाने के बारे में जानकारी नहीं होगी। इस दिन को बड़े ही उत्साह के साथ मनाया जाता है।

जिसका जन्मदिन होता है उसे शुभकामनाओं के साथ-साथ उपहार भी दिए जाते है और इसके बदले में पार्टी दी जाती है। केक कटिंग, मोमबत्ती बुझाना, गुब्बारे फोड़ना बर्थडे पार्टी के सबसे बड़े के सबसे बड़े भाग होते हैं।

जन्मदिन क्या है? इस बारे में शायद ही किसी को बताने की जरूरत है क्योंकि जन्मदिन वो दिन होता है जब आप इस धरती पर आए थे यानि इस दिन आपका जन्म हुआ था। इसे अंग्रेजी में Birthday (जन्म का दिन) कहा जाता है। Birthday Celebration को जन्मदिन मनाना कहते हैं।

जन्मदिन क्यों मनाया जाता है – Why We Celebrate Birthday in Hindi

आज से कई वर्ष पहले लोग जन्मदिन नहीं मनाते थे या यूं कहें कि बहुत कम लोग जन्मदिन मनाते थे। कई लोगों को तो अपने जन्मदिन के बारे में जानकारी भी नहीं होती थी कि उनका जन्मदिन कब आया और चला गया। आज भी आपको ऐसे लोग मिल जाएंगे जो जन्मदिन नहीं मनाते हैं, भले ही उन्हें अपनी जन्म तिथि मालूम हो या नहीं।

यहां पर हम आपको यह बता रहे है कि लोग जन्मदिन क्यों मनाते हैं या जन्मदिन मनाने के पीछे क्या कारण है।

इस भौतिक संसार में हम कई प्रकार की परिस्थितियों से गुजरते हैं जहां कई बार हमारा मन निराश हो जाता है या हमारे जीवन में कठिन समय आ जाता है। ऐसा जरूरी भी नहीं है, फिर भी छोटी-छोटी क्रियाओं में जीवन का आनंद लेने तथा सांसारिक मामलों से बाहर आकर खुद को खुशी प्रदान करने के लिए जन्मदिन मनाया जाता है।

भौतिकवादी दुनिया को ध्यान में रखते हुए देखा जाए तो खुद के लिए समय निकालना तथा खुद को खुश रखना काफी मुश्किल काम बन गया है। ऐसे में जन्मदिन वो अवसर होता है जो आपको ऐसा करने का मौका देता है।

किसी के जन्मदिन पर सभी दोस्त, परिवार व रिश्तेदार एक साथ इकट्ठा होते हैं। वैसे तो यह सब लोग किसी अन्य त्योहार पर भी एक साथ एकत्रित होते हैं, फिर भी किसी एक व्यक्ति के लिए इन सब का एक साथ आना उसे बहुत अच्छा महसूस कराता है और खुद का मूल्य भी समझाता है।

मजाकिया लहजे में कहा जाए तो किसी की उम्र जानने के लिए जन्मदिन 🎂 मनाया जाता है। 😃😂

सामान्य तरीके से देखा जाए तो जन्मदिन अधिकतर वही लोग मनाते हैं जिनके पास पैसा होता है क्योंकि वो इस प्रकार के पार्टी तथा तामझाम को afford कर सकते हैं।

हालांकि यह भी जरूरी नहीं है कि जन्मदिन पर कोई बड़ी पार्टी दी जाये। छोटा-सा आयोजन भी किया जा सकता है या बिना किसी आयोजन किये परिवार के साथ बर्थडे को सेलिब्रेट किया जा सकता है।

जन्मदिन मनाने का इतिहास

वैसे तो हम लोग बहुत लंबे समय से जन्मदिन मनाते आ रहे हैं लेकिन हमारे नहीं बल्कि देवी देवताओं और भगवान के। जैसे राम नवमी मनाई जाती है क्योंकि इस दिन भगवान राम का जन्म हुआ था।

इस प्रकार कई अन्य देवी-देवताओं के जन्मदिन को भी हम सभी मनाते हैं। अतः देखा जाए तो जन्मदिन हजारों वर्षों से मनाया चाहता आ रहा है क्योंकि भगवान राम बहुत वर्ष पहले हुए थे।

देखा जाए तो बहुत समय पहले जन्मदिन नहीं मनाया जाता था क्योंकि उस समय लोगों के पास कैलेंडर नहीं था या तिथि ज्ञात करने का कोई तरीका नहीं था।

धीरे-धीरे मानव सभ्यता ने बुड्ढे होने तथा किसी एक ऋतु पर बार-बार आने के क्रम को समझा और चांद तथा सूर्य की गतिविधियों से कैलेंडर (तिथियों) का प्रारंभ हुआ।

कुछ लोगों का कहना है कि जन्मदिन का सबसे पहला उल्लेख लगभग 3000 ईसा पूर्व वर्क पहले मिलता है। इसका स्रोत बाइबल को माना जाता है। इसके अनुसार मिस्र (egypt) में सबसे पहले जन्मदिन मनाया जाता था। हालांकि यह आज के जन्मदिन से बहुत ही ज्यादा भिन्न होता था।

उस समय की संस्कृति में देवी देवताओं को बड़ा सम्मान दिया जाता था। उनके सम्मान के लिए लोग केक जैसा कुछ बनाते थे और मोमबत्तियां जलाकर दुआएं मांगते थे।

इससे जन्मदिन पर मोमबत्ती जलाने के कल्चर को समझा जा सकता है। ऐसे में जन्मदिन सिर्फ देवी-देवताओं तक सीमित थे और लोग इसे अपनी सुरक्षा हेतु मनाते थे।

धीरे-धीरे इसका प्रचार हुआ और प्राचीन रोम के लोग सबसे पहले आम लोगों के जन्मदिन का भी जश्न मनाने लगे।

18वीं सदी में जर्मनी में केक का आविष्कार किया गया जिसे हम आज हर जन्मदिन पर देखते हैं।

इस प्रकार धीरे-धीरे आम लोगों ने जन्मदिन मनाना शुरू किया और Happy Birthday to You जैसी rhymes भी बनी।

भारत को ध्यान में रखकर बात की जाए तो हमारे यहां भी देवी-देवताओं के जन्मदिन को बहुत समय पहले से मनाया जाता रहा है लेकिन आजकल हर गांव और शहर में लोग अपने बच्चों और खुद का जन्मदिन मनाते हैं।

इस प्रकार कहा जा सकता है कि जन्मदिन का इतिहास बहुत पुराना है।

जन्मदिन पर मोमबत्ती क्यों बुझाई जाती है

बर्थडे केक पर मोमबत्ती जलाने और बुझाने का संबंध बहुत पुराने समय से है। यह परम्परा प्राचीन समय में यूनान (ग्रीस) देवी देवताओं को सम्मान देने के लिए मोमबत्तियां जलाई जाती थी जो धीरे-धीरे आम आदमी के जन्मदिन में भी प्रचलित हो गई।

ग्रीस में देवी-देवताओं के लिए मोमबत्ती इसलिए जलाई जाती है क्योंकि उनका मानना था कि मोमबत्ती का धुआं सीधा भगवान के पास जाता है और उनकी दुआएं पूरी होती है।

इसके अलावा ऐसा भी माना जाता है कि बर्थडे केक पर मोमबत्ती लगाने की शुरुआत जर्मनी से हुई क्योंकि जर्मनी में ही के का आविष्कार हुआ था तो उस दौरान केक पर मोमबत्ती लगाई जाती और फिर उसे बुझा कर जन्मदिन सेलिब्रेट किया जाता।

जन्मदिन पर केक क्यों काटा जाता है

जन्मदिन पर केक काटने का रिवाज भी पुरानी ग्रीक संस्कृति से संबंध रखता है। इसके अलावा आधुनिक रूप से देखा जाए तो केक काटने की परंपरा जर्मनी से शुरू हुई।

बर्थडे पर केक क्यों काटते हैं, बर्थडे बहुत शुभ अवसर होता है और यह हमारे जीवन के एक नए साल की शुरुआत करता है। इस दिन पर केक काटना यानि पुरानी बुरी यादों को भूल नये सफर की शुरुआत करना होता है।

जन्मदिन का महत्व – Importance of Birthday in Hindi

प्रकृति द्वारा दिया हुआ जीवन हमारे लिए सबसे बड़ा उपहार है। ऐसे में इस जीवन को खुशियों के साथ जीना तथा हर पल जश्न मनाना ही हमारे तथा हमारे शरीर के लिए सबसे बड़ा उपहार माना जाएगा।

जन्मदिन वो अवसर होता है जो हमें हमारे जन्मदिन की याद दिलाता है और सिखाता है कि जब हम छोटे थे तो कितनी खुशी के साथ रहते थे। इसी प्रकार ताउम्र रहे और मजे करे।

क्या आप जानते है कि हमारी वैदिक परंपरा के अनुसार जन्म दिवस को क्या कहा जाता है. वैदिक परम्परा में जन्म दिवस को जन्मोत्सव कहा जाता है।

जन्मदिन क्यों मनाना चाहिए

जन्मदिन क्यों मनाएं, इसके लिए कई सारे कारण हो सकते हैं। इनमें से सबसे पहला है कि यह आपके जन्म का दिन है यानि इस दिन को आपका जन्म हुआ था जो कि अपने आप में ही एक बहुत बड़ी बात है।

एक कारण यह भी हो सकता है कि जन्मदिन पर आपके सभी पसंदीदा लोग एक ही स्थान पर इकट्ठा होते हैं और जश्न मनाते हैं। दोस्तों और परिवार के साथ समय बिताने का और पार्टी करने का यह बहुत अच्छा अवसर होता है। साथ ही आपको Happy Birthday Gifts भी मिलते हैं जो आपके इस दिन को और ज्यादा स्पेशल बनाते हैं।

इसके अलावा जन्मदिन मनाने का एक और कारण हो सकता है और वो यह है कि आप जिंदा है। क्या पता अगला जन्मदिन मनाने के लिए आप रहे या ना रहे हैं क्योंकि जिंदगी का कोई भरोसा नहीं है। यह बहुत नाजुक है।

आपने एक कहावत तो सुनी होगी कि कल क्या होगा, कौन जाने! अतः जब तक जिंदगी है, हंसी खुशी के साथ जिओ और हर पल का आनंद लो।

क्या जन्मदिन मनाना जरूरी है

जी नहीं, लोगों को जन्मदिन मनाना कोई अनिवार्य नहीं है। यह सब की व्यक्तिगत रूप से पसंद होती है। कोई जन्मदिन मनाना पसंद करता है तो किसी को इस प्रकार के आयोजन करना पसंद नहीं होता है।

मेरा जन्मदिन कब है

अपने खुद का जन्मदिन जानने के लिए आपको अपने जन्म प्रमाण पत्र को देखना होगा या अगर आप बड़े हैं तो आप अपनी दसवीं कक्षा के अंक तालिका को देख सकते हैं। उस पर जन्मतिथि लिखी होती है।

वैसे तो भारत में अधिकतर लोगों की जन्मतिथि सही नहीं है क्योंकि पहले के समय में जन्म प्रमाण पत्र नहीं बनाए जाते थे और ऐसे ही तूकबंदी से जन्म की तारीख को सेट कर दिया जाता था।

अगर आप वास्तविक रूप से अपनी जन्मतिथि को जाना चाहते हैं तो अपने दादा-दादी या मम्मी पापा से मेरा जन्म कब और कौन से महीने की कौन सी तिथि को हुआ, के बारे में पूछें। वो आपको विक्रम संवत या भाद्रपद महीने की शुक्ल पक्ष की नवमी जैसा कुछ बताएंगे।

इससे आप वर्तमान कैलेंडर को आधार बनाकर भूतकाल की तिथियों की गणना कर सकते हैं। मोबाइल या स्मार्टफोन में कैलेंडर के माध्यम से किसी भी वर्ष की, किसी भी महीने की तिथि को जाना जा सकता है। इस प्रकार आप जान सकते हैं कि मेरा जन्म कब हुआ था या मेरी जन्मदिन कब है!

सारांश

हर जगह जन्मदिन को अलग-अलग तरीकों से मनाया जाता है। अगर छोटे बच्चों का जन्मदिन होता है तो किटी पार्टी रखी जाती है। बड़ों का जन्मदिन होने पर कुछ अलग तरीके से celebration किया जाता है।

आप भी अगर जन्मदिन मनाते है तो कुछ ऐसा करें जिससे आपका जन्मदिन यादगार बने। हो सके तो पेड़ लगाना, दान देना जैसे समाज से जुड़े काम करें।

यह थी जन्मदिन क्यों मनाया जाता है के बारे में जानकारी। अब आपकी बारी है comment box में यह बताने कि आप अपना जन्मदिन मनाते है या नहीं? अगर हाँ तो अपना अनुभव जरूर शेयर करें।

पूरा संसार में किसका जन्मदिन मनाया जाता है?

आम्बेडकर जयन्ती सम्पूर्ण विश्व में मनाई जाती हैं।

क्या जन्मदिन मनाना जरूरी है?

2. जन्मदिन तिथि के अनुसार मनाने का महत्त्व : जन्मदिन तिथि का महत्त्व - जिस तिथि पर हमारा जन्म होता है, उस तिथि के स्पन्दन हमारे स्पन्दनों से सर्वाधिक मेल खाते हैं। इसलिए उस तिथि पर परिजनों एवं हितचिन्तकों द्वारा हमें दी गई शुभकामनाएं एवं आशीर्वाद सर्वाधिक फलित होते हैं इसलिए जन्मदिन तिथिनुसार मनाना चाहिए।

जन्मदिन क्यों मनाता है?

सबसे पहले Birthday जर्मनी में मनाया गया था । जर्मनी के लोगों का मानना था कि सभी एक साथ इकट्ठे होकर के शोर करते हैं तब बुरी आत्माएं भाग जाती है वह बुरी आत्माओं को भगाने के लिए ऐसा करते थे यहीं से बर्थडे मनाने की शुरुआत हुई थी ।

हिंदू धर्म के अनुसार जन्मदिन कैसे मनाया जाता है?

अतः हिन्दू रिवाज से जिस व्यक्ति का जन्म दिन होता है वह अपने जन्म दिन के अवसर पर अपने इष्ट मित्रो और परिजन के साथ मंदिर जी में जा कर भगवान के समक्ष दीप जला कर उनकी सामूहिक भक्ति और आरती करता है तथा उज्ज्वल भविष्य की कामना करता है। भगवान के जन्म पर जिस तरह खुशियां मनाई जाती है वैसी खुशी भी मनाई जाती है।

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